युवक भी निर्बल हो जाते हैं, वे थक जाते हैं,
तरुण भी थक कर चूर हो जाते हैं।
परन्तु प्रभु की प्रतीक्षा करनेवाले
नया बल प्राप्त करते जाएंगे,
वे गरुड़ के पंखों की तरह
नवशक्ति प्राप्त कर ऊंचे उड़ेंगे;
वे दौड़ेंगे, पर थकेंगे नहीं;
वे चलते रहेंगे, किन्तु निर्बल नहीं होंगे।