होशे 6
6
इस्राएली राष्ट्र का पश्चात्ताप दिखावा मात्र है
1लोग यह कहते हैं :
‘आओ, हम प्रभु के पास लौटें।
उसने हमें क्षत-विक्षत किया है,
अब वही हमें स्वस्थ करेगा।
उसने हमें घायल किया है,
अब वही हमारे घावों पर पट्टी बांधेगा।#यिर 30:10; यहेज 34:16
2दो दिन पश्चात् वह हमें पुनर्जीवित करेगा,
और तीसरे दिन वह हमें खड़ा कर देगा,
ताकि हम उसके सम्मुख जीवित रहें।#1 कुर 15:4
3आओ, हम प्रभु का अनुभव प्राप्त करें।
आओ, हम प्रभु के ज्ञान की तलाश करें।
ऊषा की तरह उसका प्रकट होना निश्चित है।
वर्षा की बूंदों के सदृश वह हमारे पास
आएगा;
भूमि को सींचनेवाली वसंत की वर्षा
के समान वह हमारे पास आएगा।’#नीति 2:1-9
4प्रभु यह कहता है : ओ एफ्रइम,
मैं तेरे साथ कैसा व्यवहार करूं?
ओ यहूदा, मैं तेरे साथ क्या करूं?
मेरे प्रति तेरा प्रेम सबेरे के बादल के समान
भाप बनकर उड़नेवाली ओस की बूंद के
सदृश क्षणभंगुर है।
5अत: मैंने नबियों के माध्यम से
तेरे लोगों पर कठोर प्रहार किए;
अपने मुंह के वचनों से मैंने उनका वध किया।
सूर्य के सदृश मेरा न्याय प्रकट होता है।#यिर 1:10
6मुझे करुणा चाहिए, पशु-बलि नहीं।
मैं अग्नि-बलि से प्रसन्न नहीं होता,
वरन् इस बात से प्रसन्न होता हूं
कि तुम मुझ-परमेश्वर का ज्ञान प्राप्त करो।#आमो 5:24; मत 9:13; 12:7
7उन्होंने आदम घाट में विधान का उल्लंघन
किया;
वहाँ उन्होंने मेरे साथ विश्वासघात किया।
8गिलआद नगर कुकर्मियों का गढ़ है;
वह रक्त रंजित नगर है।
9जैसे डाकू-दल मार्ग में घात लगाकर
राहगीर की प्रतीक्षा करते हैं,
वैसे ही पुरोहित भी दल बनाकर
शेकेम नगर के मार्ग पर हत्या करते हैं।
वे महापाप करते हैं।
10इस्राएल के पवित्र स्थान में
मैंने घृणास्पद वस्तु देखी!
वहाँ एफ्रइम वेश्यावृत्ति करता है।
इस्राएल अशुद्ध हो गया है।
11ओ यहूदा, तेरे लिए भी
दण्ड का समय निश्चित है।
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होशे 6: HINCLBSI
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Hindi CL Bible - पवित्र बाइबिल
Copyright © Bible Society of India, 2015.
Used by permission. All rights reserved worldwide.
होशे 6
6
इस्राएली राष्ट्र का पश्चात्ताप दिखावा मात्र है
1लोग यह कहते हैं :
‘आओ, हम प्रभु के पास लौटें।
उसने हमें क्षत-विक्षत किया है,
अब वही हमें स्वस्थ करेगा।
उसने हमें घायल किया है,
अब वही हमारे घावों पर पट्टी बांधेगा।#यिर 30:10; यहेज 34:16
2दो दिन पश्चात् वह हमें पुनर्जीवित करेगा,
और तीसरे दिन वह हमें खड़ा कर देगा,
ताकि हम उसके सम्मुख जीवित रहें।#1 कुर 15:4
3आओ, हम प्रभु का अनुभव प्राप्त करें।
आओ, हम प्रभु के ज्ञान की तलाश करें।
ऊषा की तरह उसका प्रकट होना निश्चित है।
वर्षा की बूंदों के सदृश वह हमारे पास
आएगा;
भूमि को सींचनेवाली वसंत की वर्षा
के समान वह हमारे पास आएगा।’#नीति 2:1-9
4प्रभु यह कहता है : ओ एफ्रइम,
मैं तेरे साथ कैसा व्यवहार करूं?
ओ यहूदा, मैं तेरे साथ क्या करूं?
मेरे प्रति तेरा प्रेम सबेरे के बादल के समान
भाप बनकर उड़नेवाली ओस की बूंद के
सदृश क्षणभंगुर है।
5अत: मैंने नबियों के माध्यम से
तेरे लोगों पर कठोर प्रहार किए;
अपने मुंह के वचनों से मैंने उनका वध किया।
सूर्य के सदृश मेरा न्याय प्रकट होता है।#यिर 1:10
6मुझे करुणा चाहिए, पशु-बलि नहीं।
मैं अग्नि-बलि से प्रसन्न नहीं होता,
वरन् इस बात से प्रसन्न होता हूं
कि तुम मुझ-परमेश्वर का ज्ञान प्राप्त करो।#आमो 5:24; मत 9:13; 12:7
7उन्होंने आदम घाट में विधान का उल्लंघन
किया;
वहाँ उन्होंने मेरे साथ विश्वासघात किया।
8गिलआद नगर कुकर्मियों का गढ़ है;
वह रक्त रंजित नगर है।
9जैसे डाकू-दल मार्ग में घात लगाकर
राहगीर की प्रतीक्षा करते हैं,
वैसे ही पुरोहित भी दल बनाकर
शेकेम नगर के मार्ग पर हत्या करते हैं।
वे महापाप करते हैं।
10इस्राएल के पवित्र स्थान में
मैंने घृणास्पद वस्तु देखी!
वहाँ एफ्रइम वेश्यावृत्ति करता है।
इस्राएल अशुद्ध हो गया है।
11ओ यहूदा, तेरे लिए भी
दण्ड का समय निश्चित है।
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