तीतुस 3
3
मसीही चाल–चलन
1लोगों को सुधि दिला कि हाकिमों और अधिकारियों के अधीन रहें, और उनकी आज्ञा मानें, और हर एक अच्छे काम के लिये तैयार रहें, 2किसी को बदनाम न करें, झगड़ालू न हों; पर कोमल स्वभाव के हों, और सब मनुष्यों के साथ बड़ी नम्रता के साथ रहें। 3क्योंकि हम भी पहले निर्बुद्धि, और आज्ञा न माननेवाले, और भ्रम में पड़े हुए और विभिन्न प्रकार की अभिलाषाओं और सुखविलास के दासत्व में थे, और बैरभाव, और डाह करने में जीवन व्यतीत करते थे, और घृणित थे, और एक दूसरे से बैर रखते थे। 4पर जब हमारे उद्धारकर्ता परमेश्वर की कृपा और मनुष्यों पर उसका प्रेम प्रगट हुआ, 5तो उसने हमारा उद्धार किया; और यह धर्म के कामों के कारण नहीं, जो हम ने आप किए, पर अपनी दया के अनुसार नए जन्म के स्नान और पवित्र आत्मा के हमें नया बनाने के द्वारा हुआ। 6जिसे उसने हमारे उद्धारकर्ता यीशु मसीह के द्वारा हम पर अधिकाई से उंडेला। 7जिस से हम उसके अनुग्रह से धर्मी ठहरकर, अनन्त जीवन की आशा के अनुसार वारिस बनें।
8यह बात सच#3:8 यू० विश्वासयोग्य है, और मैं चाहता हूँ कि तू इन बातों के विषय में दृढ़ता से बोले इसलिये कि जिन्होंने परमेश्वर पर विश्वास किया है, वे भले–भले कामों में लगे रहने का ध्यान रखें। ये बातें भली और मनुष्यों के लाभ की हैं। 9पर मूर्खता के विवादों, और वंशावलियों, और विरोध और झगड़ों से जो व्यवस्था के विषय में हों, बचा रह; क्योंकि वे निष्फल और व्यर्थ हैं। 10किसी पाखंडी को एक दो बार समझा–बुझाकर उससे अलग रह, 11यह जानकर कि ऐसा मनुष्य भटक गया है, और अपने आप को दोषी ठहराकर पाप करता रहता है।
व्यक्तिगत निर्देश और अभिवादन
12जब मैं तेरे पास अरतिमास या तुखिकुस#प्रेरि 20:4; इफि 6:21,22; कुलु 4:7,8; 2 तीमु 4:12 को भेजूँ तो मेरे पास निकुपुलिस आने का प्रयत्न करना, क्योंकि मैं ने वहीं जाड़ा काटने का निश्चय किया है। 13जेनास व्यवस्थापक और अपुल्लोस#प्रेरि 18:24; 1 कुरि 16:12 को यत्न करके आगे पहुँचा दे, और देख कि उन्हें किसी वस्तु की घटी न होने पाए। 14हमारे लोग भी आवश्यकताओं को पूरा करने के लिये अच्छे कामों में लगे रहना सीखें ताकि निष्फल न रहें।
15मेरे सब साथियों का तुझे नमस्कार। जो विश्वास के कारण हम से प्रीति रखते हैं, उनको नमस्कार।
तुम सब पर अनुग्रह होता रहे।
वर्तमान में चयनित:
तीतुस 3: HINOVBSI
हाइलाइट
शेयर
कॉपी
Want to have your highlights saved across all your devices? Sign up or sign in
Hindi OV (Re-edited) Bible - पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible
Copyright © 2012 by The Bible Society of India
Used by permission. All rights reserved worldwide.