मती 22:30
मती 22:30 MTH
अन्तिम दिनमे जब मरल लोकसब जि के उठतै त उसब बियाह नै करतै आ नै बियाह करादेतै, महज उसब स्वरगके स्वरगदुतसब जखा हेतै।
अन्तिम दिनमे जब मरल लोकसब जि के उठतै त उसब बियाह नै करतै आ नै बियाह करादेतै, महज उसब स्वरगके स्वरगदुतसब जखा हेतै।